Breaking News

आश्रितों को सैनिक पुनर्वास संस्था देगी 10 लाख रुपये

आश्रितों को सैनिक पुनर्वास संस्था देगी 10 लाख रुपये

देश के लिए बलिदान देने वाले उत्तराखंड के सैनिकों के आश्रितों को उत्तराखंड सैनिक पुनर्वास संस्था 10 लाख रुपये देगी। वहीं, पूर्व सैनिकों और सैनिक आश्रितों का सेना, पुलिस या अर्द्धसैनिक बलों में चयन होने पर उन्हें प्रोत्साहन के रूप में 40 हजार रुपये दिए जाएंगे। राजभवन की मंजूरी के बाद सैनिक कल्याण निदेशालय ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिया है। उधर, पूर्व में राज्य सरकार भी सैनिकों के बलिदान पर आश्रितों को 50 लाख रुपये देने की घोषणा कर चुकी है।

निदेशक सैनिक कल्याण ब्रिगेडियर अमृत लाल (सेनि.) के मुताबिक पहले केवल भर्ती पूर्व प्रशिक्षण केंद्रों से सेना में भर्ती का प्रशिक्षण लेने वाले पूर्व सैनिक आश्रितों के सेना, पुलिस और अर्द्धसैनिक बलों में चयन पर 20 हजार रुपये की प्रोत्साहन राशि दी जाती थी, लेकिन अब पूर्व प्रशिक्षण केंद्र से प्रशिक्षण की बाध्यता को न सिर्फ हटा दिया गया है बल्कि प्रोत्साहन राशि को भी दोगुना कर दिया गया है। वहीं, पूर्व सैनिकों की मृत्यु पर आश्रितों को संस्था की ओर से अंतिम संस्कार के लिए 10 हजार रुपये अनुदान दिया जाएगा।

पूर्व सैनिक आश्रितों को चिकित्सा, इंजीनियरिंग के साथ कानून की शिक्षा के लिए 50 हजार की छात्रवृत्ति, नॉन पेंशनभोगी पूर्व सैनिकों, उनकी विधवाओं को आकस्मिकता अनुदान 25 हजार रुपये हर साल दिए जाएंगे। जबकि पूर्ण रूप से दिव्यांग पूर्व सैनिकों को हर साल दो लाख रुपये की आर्थिक मदद दी जाएगी। जेसीओ रैंक तक के पूर्व सैनिक और सैनिक विधवाओं के आश्रितों को यह अनुदान राशि दी जाएगी। निदेशक सैनिक कल्याण के मुताबिक आर्थिक रूप से कमजोर पूर्व सैनिकों और उनके आश्रितों को घर के रखरखाव के लिए भी एक लाख रुपये मिलेंगे।

उत्तराखंड सैनिक पुनर्वास संस्था की ओर से कक्षा एक से आठवीं तक के बालकों को हर साल 12 हजार रुपये और बालिकाओं को 15 हजार रुपये, आठवीं से स्नातकोत्तर तक बालकों को हर साल 20 हजार रुपये और बालिकाओं को 25 हजार रुपये छात्रवृत्ति दी जाएगी।

Doonited Affiliated: Syndicate News Hunt

This report has been published as part of an auto-generated syndicated wire feed. Except for the headline, the content has not been modified or edited by Doonited.

Related posts

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *